E9 News, लखनऊः फर्रुखाबाद जिला जेल में रविवार सुबह बंदियों ने अपने बीमार साथी को बेहतर इलाज न मिल पाने पर जमकर बवाल काटा। कुछ कैदी ईंट-पत्थर लेकर जेल की छत पर चढ़ गए। उन्होंने जेल के अंदर कुछ जगहों पर आग भी लगा दी। बताया जा रहा है कि इस दौरान पत्थरबाजी में कार्रवाहक डीएम एनपी पांडे और जेल सुपरिटेंडेंट राकेश कुमार को सिर में चोटें आई हैं। कैदियों का आरोप है कि जेल में उनके साथ कैदी का इलाज नहीं किया गया। वहीं जेल में खराब खाने को लेकर भी कैदी नाराज हैं। इस घटना के बाद फर्रुखाबाद जेलर डीके सिंह को निलंबित कर दिया गया है। छह अन्य सुरक्षा गार्ड को हटा दिया गया है।
डॉक्टर नीरज कुमार का तबादला कर दिया गया है। डीआईजी जेल 15 दिनों के अंदर रिपोर्ट दाखिल करेंगे। फर्रुखाबाद जिला जेल मे सुवह से बंदियों व जेल प्रशासन के बीच विवाद चल रहा है। दो सौ अधिक बंदी जिला जेल में छतों पर ईट पत्थर लेकर चढ़े और इन्होंने रुक-रूककर पथराव किया। इन लोगों ने जेल के अंदर कुछ जगहों पर आग लगा दी थी। पथराव में जेलर के सिर पर पत्थर लगा जिससे यह गंभीर रूप से घायल हो गए हैं। उन्हें इलाज के लिए जिला अस्पताल भेजा गया है। एक कैदी के भी सिर मे चोट लगी हुई है। पटटी बांधे हुए जेल से बाहर लाया गया। उसको भी एंबूलेंस से जिला अस्पताल भेजा गया है। जब मामला नियंत्रण से बाहर हो गया तो जिला प्रशासन कई थानों की फोर्स के साथ अंदर पहुंचा। सीडीओ एन के पांडेय मौके पर पहुंचे। जब इन्होंने बंदियां से वार्ता करनी चाही तो बंदियों ने फिर से पथराव कर दिया और सीडीओ भी घायल हो गए। इनके पैर में पत्थर लगा।
बाहर निकल आए जेल प्रशासन की बात करें तो उनके पास न तो सिर पर लगाने को हैलमेट थे, न बॉडी प्रोटेक्टर। वह अपने आप को बचाने के लिए दीवारों के पास छिपे दिखाइ दिए। जानकारी के मुताबिक, एक बीमार बंदी को लोहिया अस्पताल रेफर करने के बजाय अस्पताल जेल ले जाने पर कैदियों में गुस्सा फैल गया। गुस्साए कैदियों ने विरोध शुरू कर दिया और छतों पर चढ़कर नारेबाजी शुरू कर दी। करीब साढ़े नौ बजे पुलिस पहुंची तो बंदी और भड़क गए। उन्होंने पथराव करके पुलिस को जेल में घुसने से रोक कर दिया। बवाल बढऩे पर एडीएम, एसडीएम, सिटी मजिस्ट्रेट व अन्य अधिकारी जेल पहुंच गए। मीडिया रिपोर्टस के मुताबिक, राजेपुर क्षेत्र का कैदी अतुल के चलते ये पूरा विवाद हुआ है। अतुल धारा 302 और 376 का मुल्जिम है। काफी दिनों से जेल के अस्पताल में भर्ती था। जेल के डॉक्टर नीरज कुमार ने शनिवार को तबियत सही होने के कारण उसे डिस्चार्ज कर दिया। वहीं, अतुल ने डिस्चार्ज किए जाने का विरोध किया। विवाद इतना बढ़ा कि कैदी अतुल ने सिपाही से मारपीट कर दी। इसके बाद जब जेल प्रशासन ने सख्ती की तो कैदी एकजुट हो गए और पुलिस पर पथराव शुरू कर दिया। कैदियों ने जेल के गेट नंबर 2 पर आग लगा दी। इस दौरान पुलिस ने अपनी तरफ से हालात को संभालने की पूरी कोशिश की, लेकिन कैदियों के छत पर से लगातार पथराव करने के कारण ये पुलिसवाले असहास से दिखाई पड़े।
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